ग़ाज़ियाबाद : बृजेश कुमार। मंगलवार 9 जनवरी को नगरनिगम की बैठक में पार्षद सचिन डागर ने किसी का नाम लिए बिना 30 लाख रुपये रिश्वत लिए जाने का मुद्दा उठाया था। जिस पर भड़कते हुए मेयर सुनीता दयाल ने उनकी गर्दन अलग कर देने की बात कही थी।

अब अखिल भारतीय जाट महासभा ग़ाज़ियाबाद जिला अध्यक्ष अरुण चौधरी (भुल्लन) ने कहा है कि मंगलवार को नगर निगम में जो घटना घटी, वो बहुत ही शर्मनाक है। सदन के अंदर इस तरह की भाषा का प्रयोग नहीं करना चाइए। सचिन डागर जाट समाज से हैं और जनता द्वारा चुन कर उन्हें नगरनिगम में भेजा गया है। मेयर द्वारा भरे सदन में सचिन डागर की गर्दन काटने की बात कही गई है, इस बात के लिए मेयर सुनीता दयाल को माफी मांगनी चाहिए। जाट समाज के किसी भी व्यक्ति के खिलाफ यदि कोई इस तरह की भाषा का प्रयोग करेगा तो जाट समाज शांत नहीं बैठेगा।

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